रायपुर (छत्तीसगढ़)। पूर्व विधायक विकास उपाध्याय ने कहा कि छत्तीसगढ़ का सबसे बड़ा डेढ़ सौ करोड़ के किताब घोटाले में भारतीय जनता पार्टी की सरकार ाड़यंत्रकारियों को बचा रही है। लगभग एक महीने पश्चात् भी अबतक किसी पर भी एफआईआर नहीं हुई है इसी से अंदाजा लगाया जा सकता है एवं कार्यवाही के नाम पर गुमराह करने के लिए पाठ्यपुस्तक के महाप्रबंधक को निलंबित किया जाता है। उपाध्याय ने कहा कि शिक्षा के नाम पर घोटाला कर साय सरकार ने छत्तीसगढ़ को शर्मसार किया है, इसका जवाब प्रदेश के लगभग ढाई करोड़ जनता को देना होगा। कांग्रेस पार्टी द्वारा इस घोटाले को लेकर मांग की गई कि सीबीआई जाँच या मजिस्ट्रेट लेवल पर समिति बनाकर इसकी जाँच की जानी चाहिए लेकिन उस पर भी अबतक किसी भी प्रकार की घोषणा सरकार द्वारा नहीं की गई है। उपाध्याय ने कहा कि लगातार पुस्तकों का अलग-अलग जगहों से पाया जाना साफ-साफ भारतीय जनता पार्टी के नेता और अधिकारियों की मिली-भगत से किस प्रकार करोड़ों का घोटाला किया गया है यह देखने को मिल रहा है लेकिन साय सरकार अब तक इस पर किसी प्रकार की ठोस कार्यवाही नहीं की है। साय सरकार बच्चों के भविष्य के साथ लगातार खिलवाड़ कर रही है। उपाध्याय ने कहा कि छत्तीसगढ़ के इस महाघोटाला जो कि डेढ़ सौ करोड़ रूपये से भी अधिक की राशि का है, इसका पर्दाफाश जबतक नहीं हो जाता एवं दोषी ठेकेदार, नेता, मंत्री या अधिकारी कटघरे के पीछे नहीं चले जाते तब तक कांग्रेस पार्टी इस लड़ाई को जारी रखेगी।
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